शिवसेना-भाजपा स्थानीय स्तर पर क्या हो जाएंगे अलग; औरंगाबाद में हुई शुरुआत 

मुंबई : समाचार ऑनलाइन – विधानसभा चुनाव के साथ  लड़ने के बाद सरकार गठन के वक़्त अलग होने वाली भाजपा और शिवसेना के साथ रिश्ते बेहद ख़राब हो गए है. ऐसे में सवाल उठ रहा है कि जनता का सवाल पूछने की बात कहकर स्थानीय स्तर पर शिवसेना के साथ चल रहा गठबंधन तोड़ने का निर्णय भाजपा ने लिया है. औरंगाबाद में भाजपा ने मनपा में शिवसेना  का साथ छोड़ने का निर्णय लेकर इसकी शुरुआत कर दी.

विधानसभा चुनाव भाजपा  और शिवसेना ने साथ लड़ा था. भाजपा को 105 सीटें मिली जबकि शिवसेना को 56 सीटों पर जीत मिली। लेकिन शिवसेना दवारा मुख्यमंत्री पद की मांग करने की वजह से दोनों ;दलों के बीच गठबंधन टूट गया. शिवसेना ने कांग्रेस और एनसीपी के साथ मिलकर सरकार बना लिया।
औरंगाबाद में भाजप-शिवसेना ने अलग रास्ता चुना 
इस सरकार के बनने के बाद भाजपा के स्थानीय नेतृत्व की परेशानी शुरू हो गई है. अब भाजपा ने स्थानीय स्तर पर मनपा में शिवसेना से रिश्ता खत्म करने का निर्णय लिया है. औरंगाबाद में इसकी शुरुआत हो गई है. औरंगाबाद मनपा में शिवसेना और भाजपा साथ थी. लेकिन राज्य की बदली स्थिति को देखते हुए दोनों अलग होने के रास्ते पर चल पड़े है.