बाढ़ नियंत्रण की तैयारियों की जल संसाधन मंत्री जयंत पाटिल ने की समीक्षा

संवाददाता, पुणे। राज्य के जल संसाधन मंत्री जयंत पाटिल ने इस मानसून में पश्चिमी महाराष्ट्र में बाढ के खतरे से आगाह करते हुए सभी विभागों को अलर्ट किया है। मंगलवार को इस बारे में उन्होंने पुणे में अधिकारियों के साथ बैठक करके तैयारियों की समीक्षा की। उन्होंने संबंधितों से प्रशासन द्वारा संभावित बाढ पुनरावृत्ति को रोकने के लिए की गई तैयारियों की समीक्षा की।
बाढ़ योजना को लेकर जल संसाधन मंत्री पाटिल ने संभावित बाढ़ नियंत्रण को लेकर पुणे में कृष्णा घाटी विकास निगम कार्यालय में अधिकारियों के साथ बैठक की। उन्होंने कहा कि संभावित बाढ़,अतिरिक्त वर्षा जल संचयन आदि को रोकने के लिए किए जाने वाले उपायों की समीक्षा के लिए पड़ोसी राज्यों के साथ चर्चा चल रही है और मानसून की शुरुआत से पहले बैठकें की जाएंगी। 2019 में पश्चिमी महाराष्ट्र बाढ़ से बुरी तरह प्रभावित हुआ था। उस वक्त जयंत पाटिल खुद लोगों की मदद के लिए उतरे। उस समय खुद पाटिल को कई मुश्किलों का सामना करना पड़ा था। इसलिए इस साल उन्होंने पहले ही पूरे सिस्टम को अलर्ट कर दिया है।
इस बैठक में कृष्णा घाटी विकास मंडल के कार्यकारी निदेशक मुंडे, मुख्य अभियंता गुनाले राजपूत, सांगली के अधीक्षक अभियंता नाइक, पुणे के अधीक्षक अभियंता चोपडे, प्रवीण कोल्हे, कार्यकारी अभियंता विजय पाटिल आदि उपस्थित थे। कृष्णा-भीमा घाटी पिछले कुछ सालों से बाढ़ का सामना कर रही है। पुणे में कृष्णा घाटी विकास निगम के कार्यालय में संभावित बाढ़ नियंत्रण के संबंध में अधिकारियों के साथ बैठक की गई ताकि इस वर्ष मानसून के दौरान बाढ़ से नागरिकों को परेशानी न हो।