‘भारत पर्व’ में गणतंत्र दिवस का आनंद ले सकेंगे आगंतुक

नई दिल्ली : समाचार ऑनलाइन – हर साल गणतंत्र दिवस पर सभी के लिए सबसे बड़ा आकर्षण का केंद्र विभिन्न राज्यों और मंत्रालयों की विशेष थीम वाली झांकी होती है। हालांकि हर किसी को असाधारण शिल्प कौशल को सामने से देखने का मौका नहीं मिल पाता है। ऐसे में पर्यटन मंत्रालय ने गणतंत्र दिवस के बाद भी इन झांकियों की भव्यता को देखने का सभी को मौका देने का एक नया रास्ता ढूंढ़ निकाला है।

सालभर के सबसे बड़े त्योहारों में से एक इस त्योहार की सभी 22 झांकियों को पर्यटन मंत्रालय द्वारा लाल किला में आयोजित होने वाले ‘भारत पर्व’ में प्रदर्शित किया जाएगा। ‘भारत पर्व’ का आयोजन 25 से 31 जनवरी तक होगा, इसी दौरान इन झांकियों को आगंतुकों के लिए सेल्फी लेने और फोटो खींचने के लिए उपलब्ध कराया जाएगा।

इस आयोजन में तीनों सशस्त्र बलों की टीम द्वारा विशेष बैंड परफॉर्मेश भी दी जाएगी। गणतंत्र दिवस परेड का सामने से आनंद न लेने वाले आंगतुकों के लिए यह एक तरह से गणतंत्र दिवस का विस्तृत आयोजन होगा।

इस आयोजन का उद्देश्य घरेलू पर्यटन को बढ़ावा देना है, साथ ही यहां देशभर की विभिन्न संस्कृतियों के 50 से अधिक फूड स्टॉल लगाए जाएंगे। फूड स्टॉल के अलावा आयोजन में राज्यों और मंत्रालयों द्वारा 27 थीम पवेलियन भी स्थापित किए गए हैं, वहीं 75 से अधिक शिल्प से संबंधित पवेलियन भी होंगे।

आयोजन में सारे पवेलियन और स्टॉल्स प्रधानमंत्री की ‘एक भारत श्रेष्ठ भारत’ पहल का समर्थन करेंगे।

एक वरिष्ठ पर्यटन अधिकारी ने आईएएनएस से कहा, “शुरुआत में हम एल्फाबेटिक तौर पर पवेलियन व्यवस्थित कराने वाले थे, लेकिन फिर प्रधानमंत्री के पहल को देखते हुए हमने सभी राज्यों को इस क्रम में व्यवस्थित किया, जिससे आयोजन में भारतीय संस्कृति का मिश्रण नजर आए।”

अधिकारी ने आगे कहा, “अगर आप गुजरात पवेलियन में जाएंगे तो आपको उसके ठीक बगल में सात बहनों का राज्य नजर आएगा। फूड स्टॉल पर आगंतुकों को विभिन्न व्यंजनों की मिश्रित सुगंध मिलेगी। सांस्कृतिक रूप से आप हमारे आयोजन में ‘मिनी इंडिया’ के गवाह बनेंगे।”

आयोजन में लाल किला के सामने विभिन्न सांस्कृतिक कार्यक्रमों का भव्य आयोजन किया जाएगा।

उन्होंने आगे कहा, “यह गणतंत्र दिवस का विस्तृत उत्सव बनने जा रहा है।”

इस साल आयोजन का विषय राष्ट्रपिता महात्मा गांधी को श्रद्धांजलि देना है। इसके साथ ही महात्मा के जीवन और उनकी शिक्षाओं को दर्शाने के लिए एक विशेष पवेलियन भी बनाया गया है। वहीं संस्कृति मंत्रालय द्वारा बनाए गए एक अन्य पवेलियन महात्मा गांधी के सभी संघर्षों और उनसे मिली सीख पर केंद्रित है।

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