आज बृहस्पति-शनि के मिलन की रात…800 सौ साल बाद आयाहै यह मौका , 2080 में फिर मिलेंगे दोनों

वॉशिंगटन. ऑनलाइन टीम : पृथ्वी की घूर्णन गति के कारण 21 दिसंबर को उत्तरी गोलार्ध में साल का सबसे छोटा दिन और सबसे लंबी रात होती है। इसके साथ ही इस हिस्से पर सूरज की किरणें पड़ने का समय बढ़ता रहता है। अंतरिक्ष प्रेमियों के लिए आज की रात ऐतिहासिक होने जा रही है, क्योंकि बृहस्पति और शनि ग्रह एक-दूसरे के बेहद करीब होंगे। बृहस्पति-शनि के मिलन का नजारा इसलिए भी खास है, क्योंकि किसी शख्स के जीवनकाल में यह एक ही बार आता है। अमेरिकी अंतरिक्ष एजेंसी नासा के मुताबिक शाम के समय दोनों ग्रहों के पास आने को देखा जा सकेगा। यह दुर्लभ खगोलीय घटना अगले दो सप्ताह तक देखी जा सकेगी। इस दौरान बृहस्पति और शनि ग्रह के बीच सिर्फ 0.1 डिग्री की दूरी होगी।  800 सौ साल पहले यह मौका  आया था।

बृहस्पति और शनि ग्रह दोनों ही मध्यकाल के बाद अभी तक पृथ्वी के बेहद करीब एक साथ नहीं आए हैं।  मीडिया रिपोर्ट के मुताबिक, यों तो बृहस्पति और शनि ग्रह 20 साल के बाद हमेशा एक सीधी रेखा में आते हैं, लेकिन इस बार का संयोग अपने आप में दुर्लभ घटना है। इसे क्रिसमस स्टार या बेथलेहम का तारा कहा जाता है।

बृहस्पति जहां एक चमकते तारे जैसा दिखेगा और शनि उससे ऊपर थोड़ा कम चमक रहा होगा, लेकिन हाथ सीधा करने पर दोनों एक उंगली के अंदर आ सकेंगे। जब सूरज का चक्कर लगाते हुए बृहस्पति शनि से आगे निकल जाएगा तो दोनों की स्थिति भी बदल जाएगी। इससे पहले 4 मार्च 1226 को यह दुर्लभ घटना हुई थी और उस समय भी आकाश में क्रिसमस का तारा नजर आया था। इस बार इनकी बेहद करीबी की वजह से इन्हें धरती के हर हिस्से से देखा जा सकेगा। 21 दिसंबर को सूरज के अस्त होने के बाद 45-60 मिनट बाद इन्हें आसमान में देखा जा सकेगा।  अगली बार ऐसा नजारा वर्ष 2080 में देखने को मिलेगा।