आज इसरो रचेगा एक और इतिहास… संचार उपग्रह सीएमएस- 01 की उल्टी गिनती जारी, 7 साल तक मिलेंगी सेवाएं

चेन्नई. ऑनलाइन टीम : भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान  आज गुरुवार को पीएसएलवी-सी50 के जरिये संचार उपग्रह  सीएमएस-01 को लांच करेगा। यह सैटेलाइट 2011 में लांच किए गए जीसैट-2 टेलीकम्युनिकेशन सैटेलाइट का जगह लेगा। सीएमएस-01 की सेवाएं अगले सात साल तक मिलेंगी।

इसरो के मुताबिक, सीएमएस-01 उपग्रह इसरो का 42वां संचार उपग्रह है और इसे भारत की मुख्य भूमि, अंडमान निकोबार और लक्षद्वीप को कवर करने वाले फ्रीक्वेंसी स्पेक्ट्रम के विस्तारित सी बैंड में सेवाएं मुहैया करने के लिए तैयार किया गया है। यह टेलीविजन, टेली-शिक्षा, टेली-मेडिसिन, और आपदा प्रबंधन सहायता सहित दूरसंचार सेवाएं प्रदान करेगा।

इससे पहले नवंबर में भारत ने सफलतापूर्वक ईओएस-01 और 9 अन्य विदेशी उपग्रहों को कक्षा में सफलतापूर्वक स्थापित किया था। इन 9 उपग्रहों में लक्जमबर्ग और अमेरिका के चार-चार और लिथुआनिया का एक उपग्रह शामिल था। इसरो ने पीएसएलवी-सी49 के जरिए इन सभी उपग्रहों का सफल प्रक्षेपण किया था।  उपग्रह दिन और रात दोनों ही परिस्थिति में तस्वीरें ले सकता है और यह निगरानी के साथ-साथ नागरिक गतिविधियों के लिए उपयोगी होगा।

कोरोना काल में इस साल इसरो का यह दूसरा मिशन है। इसके लिए सतीश धवन स्पेश सेंटर से 25 घंटे की उलटी गिनती बुधवार दोपहर को ही शुरू हो गई थी। बता दें कि पीएसएलवी का यह 52वां मिशन होगा। संचार उपग्रह सीएमएस-01 को दोपहर 3.41 बजे श्रीहरिकोटा के दूसरे लांच पैड से प्रक्षेपित किया जाएगा। सीएमएस-01 सैटेलाइट की वजह से टेलीकम्युनिकेशन सेवाओं में सुधार होगा। इसकी मदद से टीवी चैनलों की पिक्चर क्वालिटी सुधरने के साथ ही सरकार को आपदा प्रबंधन के दौरान मदद मिलेगी।