अकोला, 24 जून : आर्थिक रूप से पिछड़ा और पिछड़े वर्ग के समाज नागरिकों को उनके अधिकार का घर दिलाने के लिए सरकार ने घरकुल योजना शुरू की है। लेकिन घरकुल के कंस्ट्रक्शन के लिए तीसरे किश्त का चेक जारी करने के लिए पांच हज़ार रुपए की रिश्वत मांगी गई। समझौता होने के बाद मामला ढाई हज़ार रुपए में तय हुआ। इसके बाद ढाई हज़ार रुपए लेते हुए खड़की टाकली के उपसरपंच सहित तीन अन्य लोगों को एंटी क्रप्शन ब्यूरो ने मंगलवार की देर रात रंगे हाथ गिरफ्तार कर लिया।
गिरफ्तार आरोपियों के नाम दिलीप दौलत सदांशीव, अमित युवराज शिरसाट और सुधीर मनतकार व योगेश शिरसाट है। कृषि मजदुर शिकायतकर्ता को प्रधानमंत्री आवास योजना के तहत मंजूर घरकुल का जिओ टैगिंग करके तीसरी किश्त का चेक जारी करने के लिए अमित युवराज शिरसाट ने पांच हज़ार रुपए की रिश्वत मांगी थी। काफी समझौते के बाद मामला ढाई हज़ार रुपए में तय हुआ। इसका अन्य तीन आरोपियों ने समर्थन किया।
खड़की टाकली में 42 वर्षीय व्यक्ति ने घर मंजूर होने के बाद कंस्ट्रक्शन शुरू किया है। घर की जिओ टैगिंग करके तीसरी किश्त का चेक जारी करने की विनती टाकली के उपसरपंच दिलीप दौलत सदाशिव (उम्र 52 ), आगर के ग्रामीण गृह निर्माण इंजीनियर अमित शिरसाट (उम्र 26 ), अकोला पंचायत विभाग के क्लर्क सुधीर मनातकार (उम्र 36 ) और अमानतपुर के रोजगार सेवक योगेश शिरसाट (उम्र 29 ) ने अलग-अलग तरह से पांच हज़ार रुपए मांगे। लेकिन शिकायतकर्ता को रिश्वत नहीं देनी थी इसलिए उन्होंने एसीबी से इसकी शिकायत कर दी।
इस शिकायत की 21 जून को जांच की गई। जांच में आरोप सही पाया गया। इसके बाद आगर के कॉन्ट्रैक्ट इंजीनियर के घर पर ढाई हज़ार रुपए लेते तीनों को पकड़ लिया गया। इस मामले में मंगलवार देर रात तक केस दर्ज करने का काम चल रहा था। यह कार्रवाई पुलिस सब इंस्पेक्टर शरद मेमाने, अनवर खान व संतोष दहीहंडे आदि ने की।