जिस स्कूल बस से बच्चे जाते थे स्कूल, अब उसी से ले जाएंगे शव

पुणे : शहर में कोरोना की वजह से मरनेवालो का आंकड़ा बढता ही जा रहा है। इन शव को ले जाने के लिए एंबुलेंस कम पड़ रहा है। इसलिए मनपा ने प्रादेशिक परिवहन विभाग से 10 स्कूल बस की मांग की है। इसके बाद आरटीओ ने इन स्कूल बसो का इस्तेमाल शव को ले जाने के लिए करने की अनुमति दी है।

शहर में कोरोना मरीजो की संख्या फरवरी के दूसरे सप्ताह से अचानक से बढने लगी। मार्च और अप्रैल महीने में तो इस आंकड़े में बहुत तेजी से वृद्धी हुई। इसके साथ ही मृतको की संख्या में भी बढोतरी होने लगी। इन शव को ले जाने के लिए मनपा के पास जो शव वाहिका है वो कम पड़ने लगी है। इसलिए 10 स्कूल बस (टेम्पो ट्रैवलर) मिले, ऐसा पत्र मनपा के मोटर वाहन विभाग ने आरटीओ को भेजा था।

इसे आरटीओ ने अनुमति दे दी। आरटीओ अधिकारी अजित शिंदे ने कहा कि मनपा के पत्र आने के बाद 10 स्कूल बस उपलब्ध कराया गया है। सामाजिक कार्यकर्ता की मदद से उपलब्ध हुए इन 10 बसो की सीट को निकाल दिया गया है। इसलिए अब इन वाहनो से शव को ले जाया जाएगा। इससे एंबुलेंस के लिए लगनेवाले वेटिंग की भी कमी होगी।

मनपा की ओर से गाड़ी का किराया और ड्राइवर का वेतन दिया जाएगा। प्रतिदिन 1600 रुपये किराया आरटीओ ने निर्धारित किया है। इसके अनुसर मनपा किराया देगी। ऐसे में पिछले साल से स्कूल बंद होने के बाद से बेरोजगार हुए लोगो को कुछ काम मिल जाएगा।

आरटीओ की ओर से कुछ सामाजिक कार्यकर्ता को स्कूल बस देने के लिए सूचित किया गया था। इसके अनुसार हम सबने कोशिश की और 10 स्कूल बस उपलब्ध कराया। मनपा को आने वाले दौर में इससे मदद मिलेगी और बेरोजगार स्कूल बस ड्राइवर को भी रोजगार मिल जाएगा।

–    एकनाथ ढोले, जिलाध्यक्ष, वाहतूक सेना, पुणे