देश के कोने-कोने में पहुंची वैक्सीन की खेप, शनिवार को पीएस मोदी करेंगे टीकाकरण का ‘श्रीगणेश’

नई दिल्ली. ऑनलाइन टीम : कोरोना जैसी भयावह संक्रामक महामारी से निजात पाने के लिए पूरी दुनिया की नजर इसके वैक्सीन पर लगी है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी देश में 16 जनवरी को कोरोना टीकाकरण अभियान की शुरुआत करेंगे।  देश के अलग-अलग हिस्सों में वैक्सीन की खेप पहुंचना जारी है। पीएम मोदी 16 जनकरी को वैक्सीनेशन के लिए जरूरी CO-WIN ऐप को भी लॉन्च करेंगे। 2,934 टीकाकरण केंद्रों में से कुछ को शॉर्टलिस्ट किया गया है, जहां से लाभार्थी प्रधानमंत्री के साथ बातचीत कर सकते हैं।

ऐतिहासिक पल : वैक्सीन की डिलीवरी के मौके पर सीरम इंस्टीट्यूट के सीईओ अदार पूनावाला ने कहा कि ये ऐतिहासिक लम्हा है। देश के हर आदमी तक वैक्सीन पहुंचाना एक बड़ी चुनौती है, और वो इसे मुमकिन करने में जुटे हैं। असली चुनौती टीके को ‘‘आम जनता, संवेदनशील समूहों और स्वास्थ्यकर्मियों तक पहुंचाना है। हमारे ट्रक तड़के इंस्टीट्यूट से रवाना हुए। यह गौरवपूर्ण और ऐतिहासिक पल है क्योंकि वैज्ञानिकों, विशेषज्ञों और इससे जुड़े तमाम लोगों ने एक साल से भी कम में टीका विकसित करने में बहुत मेहनत की है।’’

व्यवस्था : करीब तीन हजार केंद्रों के लिए देशभर के कोल्ड चेन में एक करोड़ 65 लाख वैक्सीन पहुंचेंगी। टीकाकरण अभियान के पहले दिन करीब तीन लाख स्वास्थ्य कर्मियों को वैक्सीन लगाया जाएगा। स्वास्थ्य कर्मियों को यह वैक्सीन नि:शुल्क लगेगा। इसका खर्च केंद्र सरकार उठाएगी। शनिवार को देश के 2,934 केंद्रों पर कोरोना का वैक्सीन लगाया जाएगा। पहले 5,000 केंद्रों पर वैक्सीन देने की तैयारी थी, लेकिन अब केंद्रों की संख्या में कटौती की गई।

प्राथमिकता : राज्यों से किसी भी केंद्र पर हर दिन प्रत्येक सत्र में अधिकतम 100 लोगों को टीकाकरण के लिए बुलाने की सलाह दी है। इससे टीकाकरण केंद्रों पर व्यवस्था बनी रहेगी। यह वैक्सीन वरीयता के आधार सबसे पहले स्वास्थ्य कर्मियों और फ्रंटलाइन वर्कर्स को मुफ्त लगाई जाएगी। वैक्सीन लगवाने वाले को चार हफ्ते में दूसरी डोज लेनी होगी।

प्रक्रिया : पहले फेज के बाद कोई भी व्यक्ति इस पर सेल्फ रजिस्ट्रेशन कर सकेगा। आधार या कोई भी किसी सरकारी फोटो आईडी का इस्तेमाल आवेदक की पहचान की पुष्टि के लिए किया जाएगा, ताकि इसका गलत इस्तेमाल न हो सके। इसके अलावा 50 वर्ष से कम उम्र के ऐसे लोगों का भी रजिस्ट्रेशन होगा, जिन्हें किसी न किसी तरह का रिस्क है। सेल्फ रजिस्ट्रेशन के लिए उन्हें किसी विशेषज्ञ के दस्तावेज पेश करने पड़ेंगे।

तैयारी : सरकार ने पहले फेज में 1.65 करोड़ कोरोना वैक्सीन का ऑर्डर दिया है। इसमें से 1.1 करोड़ वैक्सीन डोज का ऑर्डर सीरम इंस्टीट्यूट ऑफ इंडिया को कोवीशील्ड  के लिए और 3.85 करोड़ वैक्सीन डोज का ऑर्डर भारत बायोटेक को कोवैक्सिन के लिए दिया है। इसके अलावा भारत बायोटेक कोवैक्सिन के करीब 16.5 लाख वैक्सीन डोज सरकार को फ्री में उपलब्ध करा रहा है। इन दोनों ही वैक्सीन को भारत के ड्रग रेगुलेटर ने 3 जनवरी को इमरजेंसी अप्रूवल दिया था।

अन्य देशों की जरूरतें : लगभग 100 देश ऐसे हैं जो अकेले भारत स्थित सीरम इंस्टीट्यूट ऑफ इंडिया से कोरोना वैक्सीन लेंगे। करीब 12-14 देश ऐसे हैं, जिन्होंने भारत बायोटेक की कोरोना वैक्सीन में दिलचस्पी दिखाई है। इन देशों में अमेरिका और ब्रिटेन शामिल है। इसके अलावा यूरोप ने भी भारत बायोटेक की वैक्सीन में रुचि दिखाई है। कतर, स्विट्जरलैंड, बहरीन, ऑस्ट्रिया और दक्षिण कोरिया ने कोरोना वैक्सीन की आपूर्ति के लिए भारत से संपर्क किया है।