रत्नागिरी बस कंडक्टर आत्महत्या प्रकरण में चौंकाने वाला मोड़, भाई का गंभीर आरोप 

रत्नागिरी, 10 नवंबर : रत्नागिरी जिले के एसटी महामंडल की बस डिपो के कंडक्टर पांडुरंग गडदे आत्महत्या मामले में नया मोड़ आ गया है. गडदे के परिवार का दावा है कि उन्होंने आत्महत्या नहीं की बल्कि उनकी हत्या की गई है।  पांडुरंग के शरीर पर कई जगह जख्मों के निशान मिले है।  इस लिए इस मामले की विस्तृत जांच की मांग की गई है।

पांडुरंग गडदे एसटी बस के कंडक्टर की आत्महत्या से खलबली मच गई थी।  8 नवंबर को गडदे का शव कमरे में मिला था।  उनके भाई शंकर गडदे ने आरोप लगाया है कि उनके भाई ने आत्महत्या नहीं की है बल्कि उनकी हत्या हुई है।

एसटी महामंडल ने प्राथमिक रूप से इसे आत्महत्या बताया था।  लेकिन रत्नागिरी आने के बाद उनके घर वालों ने जब शव देखा और पुलिस के पास का फोटो देखा तो दावा किया कि पांडुरंग ने आत्महत्या नहीं की है बल्कि उनकी हत्या की गई है।

पांडुरंग के शरीर पर कई जगह जख्मों के निशान है।  उनका शव जब मिला था तो उनका पैर जमीन को टच कर रहा था और वह पूरी तरह से निर्वस्त्र थे।  यह दावा उनके परिवार ने किया है।  इस मामले में परिवार की ओर से रत्नागिरी पुलिस स्टेशन में केस दर्ज कराया गया है।

क्या है मामला

8 नवंबर को नांदेड़ से रत्नागिरी के बीच चलने वाली बस में कंडक्टर की ड्यूटी करके पांडुरंग आये थे।  डिपो में बस लगाने के बाद पूरा हिसाब दिया।  इसके बाद वह डिपो में अपने कमरे में सोने चले गए।  शाम 4 बजे उनके पार्टनर पी ए तांदळे उन्हें उठाने गए थे।  लेकिन दरवाजा खटखटाने के बाद भी अंदर से कोई हलचल नहीं हुई।  इसके बाद उन्होंने दरवाज तोड़ दिया।  अंदर पांडुरंग फांसी पर लटके हुए थे।  इसके बाद घटना की जानकारी पुलिस को दी गई।