मोदी ने किया भारत-बांग्लादेश मैत्री सेतु का उद्घाटन, कहा- त्रिपुरा को मिला डबल इंजन का फायदा

नई दिल्ली. ऑनलाइन टीम : प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए भारत और बांग्लादेश के बीच फेनी नदी पर बने मैत्री सेतु का मंगलवार को उद्घाटन किया। पीएम मोदी ने कहा, ‘अपने बांग्लादेश दौरे के दौरान मैंने और प्रधानमंत्री शेख हसीना जी ने मिलकर त्रिपुरा को बांग्लादेश से सीधे जोड़ने वाले ब्रिज का शिलान्यास किया था और आज इसका लोकार्पण किया गया है। इस पुल से हमारी दोस्ती मजबूत हुई है, जो दोनों देशों में आर्थिक गतिविधियों को भी मजबूत करेगा।’ उन्होंने आगे कहा, ‘न केवल भारत में, बल्कि यह सेतु बांग्लादेश में कनेक्टिविटी में सुधार करेगा. यह दोनों देशों के लोगों के बीच संचार में भी सुधार करेगा।’ बता दें कि इस पुल के उद्घाटन के बाद त्रिपुरा से बांग्लादेश के चटगांव बंदरगाह जाना आसान हो गया, जो सबरूम से सिर्फ 80 किलोमीटर दूर है।

पीएम ने कहा कि मैत्री सेतु भारत और बांग्लादेश के बीच बढ़ते द्विपक्षीय संबंधों और मैत्रीपूर्ण संबंधों का प्रतीक है। त्रिपुरा राज्य और बांग्लादेश में भारतीय सीमा के बीच बहने वाली फेनी नदी पर पुल ‘मैत्री सेतु’ बनाया गया है। राष्ट्रीय राजमार्ग और बुनियादी ढांचा विकास निगम लिमिटेड द्वारा 133 करोड़ रुपये की परियोजना लागत पर इसे पूरा किया गया। 1.9 किलोमीटर लंबा यह पुल भारत में सबरूम को बांग्लादेश के रामगढ़ से जोड़ता है।

पीएम मोदी ने कहा कि आज से तीन साल पहले आप लोगों ने एक नया इतिहास रचा था और पूरे देश को मजबूत संदेश दिया था। दशकों से राज्य के विकास को रोकने वाली नकारात्मक शक्तियों को हटाकर त्रिपुरा के लोगों ने एक नई शुरुआत की थी। आज त्रिपुरा पुरानी सरकार के 30 साल और डबल इंजन की 3 साल की सरकार में आए बदलाव को स्पष्ट अनुभव कर रहा है।
इसके अलावा पीएम ने त्रिपुरा में कई बुनियादी ढांचा परियोजनाओं का उद्घाटन और शिलान्यास भी किया। पीएम ने कहा कि जिस त्रिपुरा को हड़ताल कल्चर ने बरसों पीछे रखा आज वो इज ऑफ डूइंग बिजनेस के लिए काम कर रहा है। जहां कभी उद्योगों में ताले लगने की नौबत आ गई थी, वहां अब नए उद्योगों, नए निवेश के लिए जगह बन रही है।

कार्यक्रम को संबोधित करते हुए पीएम मोदी ने कहा, ‘आज से तीन वर्ष से पहले आप लोगों ने एक नया इतिहास रचा था और पूरे देश को मजबूत संदेश दिया था। दशकों से राज्य के विकास को रोकने वाली नकारात्मक शक्तियों को हटाकर त्रिपुरा के लोगों ने एक नई शुरुआत की थी।  परिणाम आज आपके सामने है।

बीते 6 साल में त्रिपुरा को केंद्र सरकार से मिलने वाली राशि में बड़ी वृद्धि की गई है। वर्ष 2009 से 2014 के बीच केंद्र सरकार से त्रिपुरा को केंद्रीय विकास परियोजनाओं के लिए 3500 करोड़ रुपए की मदद मिली थी। जबकि साल 2014 से 19 के बीच 12 हजार करोड़ रुपए से अधिक की मदद दी गई है।  2017 से पहले त्रिपुरा के 5.80 लाख घरों में गैस कनेक्शन था। आज राज्य के 8.50 लाख घरों में गैस कनेक्शन है। डबल इंजन की सरकार बनने से पहले त्रिपुरा में सिर्फ 50 फीसद गांव खुले में शौच से मुक्त थे। आज त्रिपुरा का करीब-करीब हर गांव खुले में शौच से मुक्त है।