मित्रदल से किये गए वादों को भूल गई भाजपा

सहयोगी पार्टी आरपीआई में बढ़ी नाराजगी: अगला मनपा चुनाव अपने दम पर लड़ने की चेतावनी
पिंपरी/पुणे। शिवसेना द्वारा साथ छोड़े जाने के बाद से संकट की हर घड़ी में भाजपा के साथ डटकर खड़ी रही आरपीआई (आठवले) फिलहाल भाजपा से नाराज चल रही है। आरपीआई नेताओं का कहना है कि भाजपा अपने वादों को भूला बैठी है। फिर चाहे पुणे में एक साल बाद फिर उपमहापौर पद देने की बात हो या फिर पिंपरी चिंचवड़ में स्वीकृत सदस्य की सीट देने का वादा। हालिया पार्टी हाईकमान रामदास आठवले पुणे दौरे पर थे तब स्थानीय नेताओं ने उनके समक्ष अपनी नाराजगी जाहिर की। वहीं पिंपरी चिंचवड़ में तो भाजपा को अपना वादा दिलाते हुए मनपा का अगला चुनाव अपने दम पर लड़ने की चेतावनी दे दी गई है।
पुणे और पिंपरी चिंचवड़ मनपा में भाजपा और आरपीआई का गठबंधन है। भाजपा के चुनाव चिन्ह कमल पर चुनाव लड़ने के बावजूद मनपा में आरपीआई का अलग गुट बनाया है। शुरुआत में भाजपा ने आरपीआई को उपमहापाैर पद दिया। इसके अनुसार पहले ढाई वर्ष में स्व नवनाथ कांबले और डाॅ. सिद्धार्थ धेंडे काे उपमहापाैर पद पर माैका मिला। मगर पिछले वर्ष भाजपा ने उपमहापाैर पद अपने पास रखते हुए सरस्वती शेंडगे काे माैका दिया। जब आरपीआई ने कड़ी नाराजगी जताई तब एक वर्ष के बाद उपमहापाैर पद देने का आश्वासन दिया गया था। अब एक वर्ष समाप्त हाेने के बावजूद भाजपा द्वारा उपमहापाैर पद काे लेकर बदलाव की प्रक्रिया शुरू नहीं की है।
इस बारे में आरपीआई की ओर से भाजपा प्रदेशाध्यक्ष चंद्रकांत पाटिल, सांसद गिरीश बापट, शहराध्यक्ष जगदीश मुलीक और सभागृह नेता गणेश बीडकर काे स्मरण पत्र दिए हैं। हालांकि पिछले दाे महीनाें से भाजपा नेताओं द्वारा केवल आश्वासन देकर टालमटाेल की जा रही है। इसके चलते आरपीआई नेताओं और नगरसेवकाें ने हालिया पार्टी हाईकमान रामदास आठवले जब पुणे दौरे पर थे, तब उनसे मुलाकात कर भाजपा नेताओं के प्रति नाराजगी जताई। इस पर आठवले ने प्रदेशाध्यक्ष चंद्रकांत पाटिल और सांसद गिरीश बापट काे फाेन भी किये जाने की खबर है। अब भाजपा नेता अपने मित्रदल की नाराजगी कैसे दूर करते हैं? यह देखना दिलचस्प होगा।
पिंपरी चिंचवड़ में भी नाराजगी
पुणे की भांति पिंपरी चिंचवड़ की आरपीआई भी मनपा के सत्तादल भाजपा से नाराज चल रही है। पार्टी के शहराध्यक्ष सुरेश निकालजे, प्रदेश सचिव बालासाहेब भागवत, अल्पसंख्यक मोर्चा के प्रदेश उपाध्यक्ष खाजाभाई शेख, शहराध्यक्ष नदाफ शेख, युवक इकाई के शहराध्यक्ष कुणाल वाव्हलकर, रिपब्लिकन एम्प्लॉईस फेडरेशन के जिलाध्यक्ष विनोद चांदमारे, विद्यार्थी इकाई के शहराध्यक्ष सुजित कांबले केे समावेश वाले प्रतिनिधि मंडल ने हालिया भाजपा के शहराध्यक्ष व विधायक महेश लांडगे से मिलकर अपना वादा पूरा करने की मांग की है। भाजपा ने पिछले चुनाव में आरपीआई को केवल तीन सीट दी थी। उसे मनपा की सत्ता दिलाने में आरपीआई और उसे मानने वाले वर्ग का बड़ा योगदान है। सत्ता में आने के बाद पार्टी को सत्ता में भागीदारी देने का वादा भाजपा नेताओं ने किया था। तब कहा गया था कि मनपा और प्रभाग स्वीकृत सदस्यों की सीट आरपीआई को दी जाएगी। परोक्ष में केवल प्रभाग स्वीकृत सदस्य की एकमात्र सीट दी गई। अब जबकि स्वीकृत सदस्यों को बदलने की गतिविधियां शुरू हो गई है तो सत्ता में भागीदारी के अपने वादे को पूरा करना चाहिए। बीते चार सालों में भाजपा ने अपने मित्रदल के साथ हमेशा सौतेलेपन का बर्ताव किया। अगर यह रवैया कायम रहा तो आरपीआई सालभर बाद होने वाला मनपा चुनाव अपने दम पर लड़ेगी, यह चेतावनी भी दी है।