समाचार ऑनलाइन – BJP के वरिष्ठ नेता तथा पूर्व वित्त मंत्री अरुण जेटली की हालत बेहद गंभीर बताई जा रही है. दिल्ली के एम्स में उनका इलाज चल रहा है. आज हालत अधिक खराब होने से डॉक्टरों ने उन्हें ईसीएमओ यानी एक्सट्राकॉर्पोरियल मेंब्रेन ऑक्सीजिनेशन पर शिफ्ट करने का फैसला लिया है. इससे पहले वे वेंटिलेटर पर थे. अरुण जेटली 24 घंटे अनुभवी डॉक्टरों के ऑब्जर्वेशन में हैं.
9 अगस्त से एम्स में भर्ती
बता दें कि 66 वर्षीय अरुण जेटली को अचानक सांस लेने में परेशानी हो रही थी, जिसके बाद तुरंत उन्हें एम्स में भर्ती किया गया था. वे 9 अगस्त से एम्स में भर्ती हैं. उसके बाद से उनकी हालत लगातार बिगड़ते जा रही है. उनकी गंभीर हालत को देखते हुए, पिछले दो दिनों से कई बड़ी राजनेतिक हस्तियाँ उनसे मिलने हॉस्पिटल पहुंच रही हैं. अभी तक राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद, गृह मंत्री अमित शाह, उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ, बहुजन समाज पार्टी की मुखिया मायावती आदि नेता उनसे हॉस्पिटल में मिल चुके हैं. खबर है कि आज शाम तक बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार भी उनका हालचाल लेने हॉस्पिटल पहुंच सकते हैं.
गौरतलब है कि जेटली डायबिटीज़ से पीड़ित है व पिछले साल मई महीने में उनका एम्स में ही गुर्दे का प्रत्यारोपण हो चुका है. अपनी स्वास्थ्य समस्याओं के कारण वे फिलहाल राजनीती से दूरी बनाए हुए थे.
क्या है ECMO ?
जब इन्सान का दिल, और फेफड़े ठीक से काम नहीं करते और वेंटीलेटर पर रखने का भी कोई फायदा नहीं होता. ऐसी स्थिति में इससे मरीज को ECMO पर रखा जाता है. इसकी मदद से मरीज के शरीर में ऑक्सीजन पहुंचाई जाती है.