29 से 4 हुए श्रम कानून…. अब 50% से कम नहीं होगी बेसिक सैलरी, PF में ज्यादा पैसे कटेंगे

नई दिल्ली. ऑनलाइन टीम   देश में अभी तक 29 श्रम कानून थे। केंद्र सरकार ने बदलाव करते हुए इनकी संख्या 29 से 4 कर दी है। ये कानून हैं- व्यावसायिक सुरक्षा कानून, स्वास्थ्य और कार्य की स्थितियां, औद्योगिक संबंध और सामाजिक सुरक्षा कानून। एक अप्रैल से नए कानून लागू हो जाएंगे और एक मई की सैलरी पर इनका असर भी दिखना शुरू हो जाएगा। नए कानून के अनुसार, जिसकी बेसिक सैलरी CTC की 50% है, उसे कोई खास फर्क नहीं पड़ने वाला, लेकिन जिसकी बेसिक सैलरी CTC की 50% नहीं है उसे ज्यादा फर्क पड़ेगा। ऐसा इसलिए होगा, क्योंकि इन नियमों के तहत अब किसी की भी बेसिक सैलरी CTC के 50% से कम नहीं हो सकती।  बेसिक सैलरी जितनी ज्यादा होगी PF उतना ज्यादा कटेगा। पहले लोग टोटल CTC से बेसिक सैलरी कम कराकर अलाउंस बढ़वा लेते थे, जिससे टैक्स में छूट भी मिल जाती थी और PF भी कम कटता था। इससे इन-हैंड सैलरी बढ़ जाती थी।

इसी क्रम में जाने लें कि CTC क्या है? दरअसल, आपके काम के ऐवज में यह कंपनी का कुल खर्च है।  यह आपकी कुल सैलरी होती है। इस सैलरी में आपकी बेसिक सैलरी तो होती ही है, इसके अलावा हाउस अलाउंस, मेडिकल अलाउंस, ट्रैवल अलाउंस, फूड अलाउंस और इंसेंटिव भी होता है। इन सबको मिलाकर आपकी टोटल सैलरी तय होती है, जिसे CTC कहा जाता है। जब आपके हाथ में सैलरी आती है तो वह आपकी CTC से कम होती है। वजह- कंपनी आपकी CTC यानी कुल सैलरी से कुछ पैसा प्रोविडेंट फंड यानी PF के लिए काटती है, कुछ मेडिकल इंश्योरेंस के प्रीमियम के तौर पर काटती है और इसके अलावा भी कुछ मदों में कटौती की जाती है। इन सभी के बाद जो पैसा आपके हाथ में आता है, वह आपकी इन-हैंड सैलरी होती है।
इस नए नियम के बाद से हो सता है कि आपके हाथ में आने वाली तनख्वाह पहले से कम हो, लेकिन भविष्य पहले की अपेक्षा ज्यादा सुरक्षित होगा, क्योंकि बचत ज्यादा होगी।