पीएमआरडीए की ओर से 13 भूखंडो की नीलामी, लोग कर रहे जमकर इसका विरोध

पुणे : पुणे महानगर प्रदेश विकास प्राधिकरण (पीएमआरडीए) ने हिंजवडी और वाघोली के अमेनिटी स्पेस को किराये पर देने का निर्णय लिया है। बिना किसी सुविधा के आरक्षित रखे गये जगहों की नीलामी क्यो, यह सवाल उठाते हुए लोगो ने इस निर्णय का विरोध किया है।

(पीएमआरडीए ने हाल ही में एक सूचना प्रकाशित की है। इसके अनुसार वाघोली मांजरी, हिंजवडी, माण और भुकूम के कुल मिलाकर 13 जगहो की नीलामी का निर्णय लिया गया है। इस सूचना के अनुसार मूलभूत सुविधा निर्माण करने के लिए इन जगहों को दीर्घकालीन समय के लिए भाड़े पर देने का निर्णय है। इसके लिए ई-नीलामी की प्रक्रिया की जाएगी।

इन परिसरो में सुविधाओ का अभाव है इसलिए यह नीलामी किस लिए यह सवाल उठा कर लोगो ने इसका विरोध किया है। विरोध जताने वाला पत्र भी लोगो की ओर से पीएमआरडीए को भेज दिया गया है। इस विषय पर वाघोली निवासी का कहना है कि पीएमआरडीए इन जगहों को भाड़े पर देकर 30 करोड़ रूपए कमाने की कोशिश कर रही है। साल में तीन सौ से 4 सौ करोड़ रूपए की आय अलग अलग परियोजनाओं के माध्यम से जब पीएमआरडीए को मिल ही जाती है फिर इस तरह का मज़ाक क्यो कर रही है पीएमआरडीए।

वाघोली को कचरा परियोजना, पीने के पानी की सुविधा और सड़क निर्माण की आवश्यकता है। इसके लिए बिल्डर ने पीएमआरडीए को निधि भी दिया है। इन जगहों को पार्क या फिर अस्पताल के लिए इस्तेमाल करने की आवश्यकता है। लेकिन ऐसा ना कर पीएमआरडीए इसकी नीलामी क्यो कर रही है ये स्पष्ट नहीं है।

जिन जगहों की नीलामी की बात पीएमआरडीए कर रही है वहाँ के विकास की रूपरेखा अभी तक तैयार नहीं की गई है। इसलिए किसी भी जगह पर कोई भी आरक्षण नहीं दर्ज किया गया है। जिस क्षेत्र में नीलामी का निर्णय लिया गया है उस क्षेत्र में कचरा प्रकल्प और जलापूर्ति की भी सुविधा नहीं है। इसके लिए लोगो ने पीएमआरडीए अधिकारियों से संपर्क करने की कोशिश की, लेकिन कोई जबाब नहीं मिला। कुछ दिन पहले ऐसे ही पुणे महानगरपालिका ने अमेनिटी स्पेस को किराये पर देने का निर्णय लिया है। इसका भी विरोध किया जा रहा है। अब पीएमआरडीए सीमा में भी यह विवाद शुरू हो गया है, अब देखना है कि इस पर क्या निर्णय लिया जाएगा।