बलिया (यूपी).सेंट जेवियर स्कूल में मंगलवार को एक टीचर ने 4th क्लास की बच्ची को थप्पड़ मार दिया। बच्ची की फैमली का कहना है कि थप्पड़ लगने से वो बेहोश हो गई, जिसके बाद उसे हॉस्पिटल ले जाया गया। यहां पर बुधवार को बच्ची की मौत हो गई। पुलिस ने फैमिली की शिकायत पर टीचर के खिलाफ केस दर्ज किया है।
मेडिकल में क्या वजह सामने आई?
-बच्ची के पिता संतोष ने कहा, “सिर में अंदरूनी चोट लगी थी। हम उसे बीएचयू में इलाज के लिए लाए। यहां सिटी स्कैन किया तो हेड इंजरी की बात सामने आई। मेरी बेटी को टीचर ने मार दिया। उसे सजा मिलनी चाहिए।”
टीचर ने क्या कहा?
– आरोपी टीचर रजनी उपाध्याय ने कहा, “बच्ची को मिर्गी की बीमारी थी, वह अक्सर चक्कर खाकर गिर जाती थी। रही बात थप्पड़ मारने की तो क्लासरूम में बहुत सी बच्चियां थीं, पुलिस उनसे पूछताछ कर सकती है।”
पुलिस जांच में क्या सामने आया?
– इंस्पेक्टर जगदीश यादव ने कहा कि पूछताछ में पता चला है बच्ची साइंस की क्लास में ड्रॉइंग कर रही थी, दो बार वॉर्निंग के बाद टीचर ने उसे डांटा फिर थप्पड़ मार दिया।
UP में पहले कब सामने आए ऐसे मामले?
1) लखनऊ: 2 मिनट में 7 साल के स्टूडेंट को 50 थप्पड़ मारे
– सितंबर 2017 में लखनऊ के उतरेठिया इलाके में सेंट जॉन विएनी स्कूल में एक टीचर ने 7 साल के स्टूडेंट को बुरी तरह पीटा। टीचर ने 2 मिनट में छोटे से बच्चे को 50 से ज्यादा थप्पड़ मारे। बच्चे की गलती महज इतनी थी कि अटेंडेंस के दौरान वो ठीक से ‘यस मैम’ नहीं बोल पाया था। सीसीटीवी में ये घटना नजर आई। टीचर को स्कूल से निकाल दिया गया और उसके खिलाफ केस दर्ज किया गया।
2) गोरखपुर: 5th के स्टूडेंट ने सुसाइड किया, टॉर्चर का आरोप लगाया था
– सितंबर 2017 में ही गोरखपुर में सेंट एंथोनी कॉन्वेंट स्कूल में 5th क्लास में पढ़ने वाले छात्र ने स्कूल से लौटने के बाद जहरीला पदार्थ खा लिया था। पांच दिन तक इलाज के बाद उसकी मौत हो गई। पेरेंट्स को बच्चे की स्टडी टेबल पर सुसाइड नोट मिला था। बच्चे ने दो टीचर्स पर टार्चर के आरोप लगाए थे।
– नवनीत नाम के इस स्टूडेंट ने सुसाइड नोट में लिखा था, “15 सितंबर को मेरा एग्जाम था। मेरी मैम (क्लास टीचर) ने मुझे बहुत रुलाया। मुझे 3 पीरियड तक खड़ा रखा था। आज मैंने ये सोच लिया है कि मैं मरने वाला हूं। मेरी आखिरी इच्छा है कि मेरी मैम किसी बच्चे को इतनी बड़ी सजा न दें। अलविदा! पापा-मम्मी और दीदी।”