पाक : नामांकन भी नामंजूर, अब राशिद की अर्जी भी खारिज

लाहौर, 23 फरवरी (आईएएनएस)। लाहौर उच्च न्यायालय (एलएचसी) की चुनाव अपीलीय अदालत ने मंगलवार को पाकिस्तान मुस्लिम लीग-नवाज (पीएमएल-एन) के पूर्व सूचना मंत्री परवेज राशिद की उस अपील को खारिज कर दिया जो उन्होंने रिटर्निग ऑफिसर द्वारा सीनेट चुनाव के लिए उनके नामांकन पत्रों को नामंजूर करने के खिलाफ दायर किया था।

एक्सप्रेस ट्रिब्यून में प्रकाशित एक रिपोर्ट के मुताबिक, राशिद ने पिछले हफ्ते लाहौर उच्च न्यायालय (एलएचसी) की चुनाव अपीलीय अदालत में रिटर्निग ऑफिसर के आदेश को चुनौती देते हुए कहा कि वह रिटनिर्ंग ऑफिसर द्वारा जताई गई आपत्तियों को दूर करने के लिए तैयार हैं।

रिटनिर्ंग ऑफिसर ने जिन आपत्तियों का जिक्र किया था, उनमें से एक 17 जनवरी, 2019 को 60.90 लाख रुपये के लिए कॉम्पट्रोलर पंजाब हाउस, इस्लामाबाद द्वारा नोटिस के माध्यम से उठाई गई मांग थी। जबकि, दूसरी आपत्ति 20.65 लाख रुपये के लिए एक अन्य नोटिस से संबंधित थी। कहने का आशय यह है कि कुल 90.50 लाख रुपये से जुड़े मामलों में उन्हें नोटिस जारी की गई थी।

पंजाब सरकार ने राशिद सहित उन लोगों की सूची जारी की थी, जिन्होंने पंजाब हाउस में रहने और भोजन करने के लिए अपने बकाया बिलों का भुगतान नहीं किया था।

बहरहाल, सुनवाई के दौरान राशिद के वकील ने अपने मुवक्किल के समर्थन में कई फैसलों का हवाला दिया, जिसमें कहा गया कि रिटर्निग ऑफिसर का आदेश कानून के मानदंडों के खिलाफ था।

वकील ने कहा कि बकाया राशि को नहीं चुकाना उनके मुवक्किल का उद्देश्य नहीं था। मेरे मुवक्किल बकाया राशि का भुगतान करना चाहते थे, न तो कोई अधिकारी उनकी बात सुनने के लिए तैयार था और न ही उन्हें अकांट्स की डिटेल दी गई।

प्रतिवादी पक्ष ने इस रुख का कड़ा विरोध किया, जिसमें आरोप लगाया गया कि रिटर्निग ऑफिसर ने परवेज राशिद के रुख को स्वीकार करते हुए उसे बकाया जमा करने के लिए 24 घंटे का समय दिया था, लेकिन वह ऐसा करने में विफल रहे।

कॉम्पट्रोलर पंजाब हाउस ने अदालत को सूचित किया कि उनका कार्यालय चालू था और कर्मचारी भी वहां मौजूद थे, लेकिन किसी ने भी बकाया जमा करने के लिए उनसे संपर्क नहीं किया।

न्यायमूर्ति साहिद वहीद ने नियंत्रक से पूछा कि ऑडिट कहां किया गया था, जिस पर उनका जवाब था कि यह पंजाब हाउस, इस्लामाबाद में किया गया था।

–आईएएनएस

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