जेजीयू व स्विट्जरलैंड की यूनिवर्सिटी ऑफ ज्यूरिख के बीच एमओयू पर दस्तखत

दावोस, 24 जनवरी (आईएएनएस)| हरियाणा के सोनीपत स्थित ओ. पी. जिंदल ग्लोबल यूनिवर्सिटी (जेजीयू) ने उच्च शिक्षा एवं अनुसंधान में आपसी सहयोग के लिए स्विट्जरलैंड की यूनिवर्सिटी ऑफ ज्यूरिख (यूजेडएच) के साथ एक समझौता ज्ञापन (एमओयू) पर हस्ताक्षर किए हैं। इस सप्ताह दावोस में आयोजित वल्र्ड इकोनॉमिक फोरम (डब्ल्यूईएफ) के दौरान इस एमओयू पर हस्ताक्षर किए गए हैं।

इस फोरम में जेजीयू के कुलपति सी. राज कुमार और यूजेडएच के अध्यक्ष माइकल हेंगार्टनर को वैश्विक विश्वविद्यालयों के भविष्य से संबंधित विषय पर अपने विचार प्रस्तुत करने के लिए आमंत्रित किया गया था।

कुमार भारत के एकमात्र कुलपति थे, जिन्हें दावोस में बोलने के लिए आमंत्रित किया गया था।

जेजीयू कुलपति ने एक बयान में कहा, “ज्यूरिख विश्वविद्यालय ने दुनिया के एक प्रमुख उच्च शिक्षण संस्थान के रूप में खुद को स्थापित किया है। यह समझौता ज्ञापन, सहयोग के कई क्षेत्रों में पारस्परिक रूप से लाभकारी होगा, जिसमें छात्र और प्रोफेसरों का आदान-प्रदान (एक-दूसरे विश्वविद्यालयों में जाकर पढ़ना-पढ़ाना) और संयुक्त अनुसंधान जैसी गतिविधियां शामिल हैं।”

उन्होंने कहा कि हम जेजीयू का दृढ़ता के साथ अंतर्राष्ट्रीयकरण करने और अपने छात्रों के लिए नए वैश्विक तौर-तरीके सीखने के अवसरों को खोलने के लिए प्रतिबद्ध हैं।

ज्यूरिख विश्वविद्यालय स्विट्जरलैंड में सबसे बड़ा विश्वविद्यालय है और शिक्षण एवं अनुसंधान में उत्कृष्टता के साथ सबसे पुराने विश्वविद्यालयों में से एक है।

1833 में स्थापित ज्यूरिख विश्वविद्यालय वर्तमान में टाइम्स उच्च शिक्षा (टीएचई) और क्यूएस विश्व विश्वविद्यालय रैंकिंग के अनुसार दुनिया के शीर्ष 100 विश्वविद्यालयों में शामिल है।

यूजेडएच के अध्यक्ष माइकल हेंगार्टनर भी इस एमओयू पर उत्साहित हैं। उन्होंने कहा, “हम वास्तव में ओ. पी. जिंदल ग्लोबल यूनिवर्सिटी के साथ सहयोग करने की संभावना के बारे में उत्साहित हैं। मैं व्यक्तिगत रूप से आश्वस्त हूं कि यह समझौता ज्ञापन फलदायी रहेगा।”