आस्था और विश्वास के आधार पर मालिकाना हक नहीं : सुप्रीम कोर्ट

नई दिल्ली, 9 नवंबर (आईएएनएस)| सुप्रीम कोर्ट ने शनिवार को आयोध्या जमीन विवाद मामले में कहा कि आस्था और विश्वास के आधार पर मालिकाना हक नहीं दिया जा सकता। अपना फैसला पढ़ते हुए अदालत ने कहा कि बाबरी मस्जिद खाली जमीन पर नहीं बनी थी। अदालत ने माना कि वहां पहले मंदिर था। एएसआई की रिपोर्ट को वैध माना और कहा कि खुदाई में जो मिला वह इस्लामिक ढांचा नहीं था।

फैसला पढ़ते हुए शुरुआत में सुप्रीम कोर्ट ने शिया वक्फ बोर्ड की याचिका खारिज कर दी है। अदालत की पीठ ने यह फैसला सर्वसम्मति से लिया। शिया बोर्ड ने मामले में याचिका दायर कर कहा था कि विवादित स्थल उसे सौंपा जाना चाहिए क्योंकि मस्जिद बनाने वाला शिया था। लेकिन कोर्ट ने इस याचिका को सर्वसम्मति से खारिज कर दिया।

प्रधान न्यायाधीश रंजन गोगोई ने फैसला सुनाना शुरू कर दिया है और कहा है कि इसमें 30 मिनट लगेंगे।