तीन मिनट के पहले भाषण में ही हो गई हालत पतली

पिंपरी : समाचार ऑनलाईन – बीते दस सालों से शिवसेना के कब्जे में रही मावल लोकसभा चुनाव क्षेत्र की सीट पर अपना कब्जा जमाने में जुटी राष्ट्रवादी कांग्रेस ने यहां से पार्थ पवार को प्रत्याशी घोषित किया है। पार्थ पूर्व उपमुख्यमंत्री अजीत पवार के पुत्र और राष्ट्रवादी के हाईकमान शरद पवार के पोते हैं। फिलहाल यही उनकी पहचान है। बीते दिन चिंचवड में शरद पवार की मौजूदगी में उनके प्रचार का शुभारंभ किया गया। यहां पर पार्थ ने अपना पहला भाषण दिया, जिसमें उनकी हालत पतली होती साफ नजर आयी। हालांकि उन्होंने पहले भाषण में होनेवाली गलती के लिए एडवांस में माफी मांग ली थी। मगर जो तीन मिनट के भाषण में ही नहीं टिक सका वो संसद में मावल का प्रतिनिधित्व कैसे करेगा?यह सवाल उठाकर सोशल मीडिया पर पार्थ को दिनभर ट्रोल किया जाता रहा।
मावल से उम्मीदवारी घोषित होने के बाद कल चिंचवड के वाल्हेकरवाडी स्थित आहेर लॉन्स में राष्ट्रवादी कांग्रेस के प्रचार का शुभारंभ पार्टी हाईकमान शरद पवार ने किया। इसमें अंग्रेजी मीडियम से पढ़ाई पूरी करनेवाले पार्थ पवार ने अपना पहला भाषण दिया। इससे पहले जब उनके उम्मीदवारी की चर्चा शुरू थी तब वे लगातार मीडिया और भाषण या बयानबाजी से बचते रहे। कल उन्होंने साथ में लिखकर लाए भाषण को तीन मिनट में पढ़कर सुनाया। अपने टूटे- फूटे भाषण में उन्होंने शिक्षा, रोजगार, किसानों के मसले जैसे मसलों पर मोदी सरकार के नाकाम साबित रहने का आरोप लगाया। साथ ही बारामती व पिंपरी चिंचवड की भांति पूरे मावल लोकसभा चुनाव क्षेत्र का विकास कर दिखाने और उम्मीदवारी के रूप में उनपर जताए गए विश्वास को सार्थ कर दिखाने का आश्वासन दिया।
तीन मिनट के भाषण में पार्थ कई जगहों पर अटक गए। हालांकि उन्होंने इसे अपना पहला भाषण बताकर शुरुआत में ही माफी मांग ली थी। मगर सोशल मीडिया ने उनकी गलतियों को लेकर उनपर जमकर निशाना साधा है। पहले भाषण में तीन मिनट भी न टिक सकनेवाला संसद में कामकाज क्या संभालेगा? इस तरह के सवालों से पार्थ पवार आज दिनभर सोशल मीडिया पर ट्रोल होते रहे। इस सभा के मंच पर पूर्व उपमुख्यमंत्री अजीत पवार, राष्ट्रवादी के प्रदेशाध्यक्ष जयंत पाटिल, विधानसभा के पूर्व सभापति दिलीप वलसे पाटिल, शेकापा के महासचिव और वरिष्ठ नेता जयंत पाटिल, विधायक बालाराम पाटिल, प्रदीप गारतकर, पूर्व विधायक विलास लांडे, अण्णा बनसोडे, मदन बाफना, संजोग वाघेरे, जगदीश शेट्टी, नाना काटे, मयूर कलाटे, भाऊसाहेब भोईर आदि मौजूद थे।